Saturday, December 21, 2024
Uncategorized

कांग्रेस झुकी पीएफआई (PFI) के आगे, बजरंग दल पीआर बैन,10 हजार करोड़ मुसलमानों के लिए

बैंगलोर: प्रतिबंधित कट्टरपंथी संगठन पॉपुलर फ्रंट ऑफ़ इंडिया (PFI) की राजनितिक इकाई SDPI ने कर्नाटक विधानसभा चुनाव में कांग्रेस पार्टी को समर्थन देने की घोषणा की है। बता दें कि ‘सोशल डेमोक्रेटिक पार्टी ऑफ इंडिया’ (SDPI) पर प्रतिबंध नहीं है। SDPI के नाम से PFI अक्सर चुनावों में हिस्सा लेता रहा है। अब PFI पर बैन लगने के बाद SDPI उससे अपने संबंधों को नकारने लगा है, ताकि उस पर प्रतिबन्ध न लगे। इस चुनाव में SDPI ने 100 विधानसभा सीटों पर उम्मीदवार उतारने का ऐलान किया था। मगर, अब उसने कहा है कि वो मात्र 16 सीटों पर ही अपने प्रत्यशी खड़े करेगा।

घर-घर जाकर कांग्रेस का प्रचार करेगी SDPI:-

दरअसल, इसके पीछे कारण यह है कि, यदि SDPI 100 सीटों पर उम्मीदवार उतारती है, तो कांग्रेस उम्मीदवार और उसके प्रत्याशी के बीच मुस्लिम वोटों का बंटवारा होने की आशंका है, ऐसे में SDPI नहीं चाहती कि, कांग्रेस को नुकसान हो और सभी मुस्लिम वोट एकतरफा कांग्रेस को पड़ें, इसलिए उसने मात्र 16 सीटों पर चुनाव लड़ने का फैसला किया है। SDPI का कहना है कि ये फैसला इसीलिए लिया गया है, ताकि भाजपा को हराने में कांग्रेस की सहायता की जा सके। SDPI के नेशनल जनरल सेक्रेटरी इलियास थुम्बे ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि, उन्होंने पार्टी कार्यकर्ताओं को घर-घर जाकर कांग्रेस और JDS के लिए चुनाव प्रचार करने के निर्देश दिए गए हैं। बता दें कि, SDPI पिछले चुनाव में भी कांग्रेस की मदद कर चुका है। वहीं, कांग्रेस ने भी अपने चुनावी मैनिफेस्टो में ‘बजरंग दल’ पर बैन लगाने का वादा कर के मुस्लिम तुष्टिकरण की नीति पर आगे कदम बढ़ा दिया है।

घोषणापत्र में कांग्रेस ने मानी PFI की मांग:-

एक और बात गौर करने लायक है कि चुनावी मनिफेसो में कांग्रेस ने उस माँग को मान लिया है, जो लगभग 1 साल पहले PFI ने उसके सामने रखी थी। फरवरी 2022 में PFI ने माँग की थी कि बजट में अल्पसंख्यकों के लिए 10,000 करोड़ रुपए का आवंटन किया जाए। दक्षिण कन्नड़ के मिट्टूर में हुई एक मीटिंग में ये माँग उठाई गई थी। PFI की तरफ से आरोप लगाया गया था कि अल्पसंख्यकों के बजट में बहुत कमी आई है। जिससे मुस्लिमों की प्रगति रुक गई है। अब कांग्रेस पार्टी ने अपने मैनिफेस्टो में लिखा है कि अल्सपंख्यकों के लिए बजट में 10,000 करोड़ रुपए का प्रबंध किया जाएगा। ये PFI की माँगों के अनुरूप ही है। हालाँकि, कांग्रेस ने इसमें बौद्ध, जैन ईसाई और अन्य का भी उल्लेख किया है।

अग्निपथ पर भी कांग्रेस-PFI के एक जैसे विचार:-

बता दें कि, कट्टरपंथी संगठन PFI 2047 तक भारत को इस्लामी राष्ट्र बनाने की साजिश पर काम कर रहा है। सुरक्षा एजेंसियों की जांच में खुलासा हुआ है कि, इसके लिए PFI मुस्लिम युवाओं को हथियार और हिंसा की ट्रेनिंग दे रहा है, ताकि मुस्लिमों को एकजुट कर हिंसा के जरिए सत्ता पर कब्ज़ा किया जा सके और फिर भारत को इस्लामी राष्ट्र घोषित किया जा सके। यही नहीं, इसके लिए PFI तरह-तरह का झूठ भी फैला रहा है, जिसमे SC/ST और OBC समुदाय को अन्य हिन्दुओं से अलग कर अपने (PFI के) साथ मिलाया जा सके और वोट बैंक बढ़ाया जा सके। इसी क्रम में PFI सेना में भर्ती के लिए लाइ गई अग्निपथ योजना को RSS की योजना बताकर मुस्लिम युवाओं को भड़का रहा है, वहीं हैरान करने वाली बात ये है कि, कांग्रेस के प्रमुख नेता राहुल गांधी भी भरी संसद में यही बात दोहरा रहे हैं। दरअसल, राहुल ने भी संसद में यही कहा था कि, अग्निपथ RSS की योजना है और इसे सेना पर थोपा गया है। जबकि दिल्ली हाई कोर्ट भी अग्निपथ को राष्ट्रहित की योजना बता चुका है। लेकिन, PFI और राहुल गांधी के बयानों में समानता जरूर हैरान कर देने वाली है।

Leave a Reply