उत्तर प्रदेश के बरेली जिले में एक दलित परिवार को घर में घुस कर जान से मारने की धमकी दी गई है। आरोपितों के नाम मोहम्मद इरफ़ान, मोहम्मद युसूफ, यूनुस, फ़िरोज़ अहमद और परवेज हैं। मुख्य आरोपित मोहम्मद इरफ़ान उर्फ़ नन्हे गाँव का प्रधान है जो पीड़िता द्वारा एक सर्वे में अपने कराए गए काम के खिलाफ बोलने से नाराज था। पुलिस ने इस मामले में FIR दर्ज कर के जाँच शुरू कर दी है। घटना 25 अक्टूबर 2023 की है जिसकी FIR शुक्रवार (27 अक्टूबर 2023) को दर्ज हुई है।
यह मामला बरेली के थाना क्षेत्र हाफिजगंज का है। यहाँ के गाँव भंडसर की रहने वाली राधा देवी ने पुलिस में शिकायत दर्ज करवाई है। शिकायत में खुद को जाटव परिवार से बताते हुए राधा देवी ने पुलिस से अपनी और अपने परिवार की जान-माल की सुरक्षा की गुहार लगाई है। राधा के मुताबिक, 27 सितंबर, 2023 को उनके गाँव में कोई सर्वे हुआ था। इस सर्वे में राधा देवी का भी पक्ष लिया गया था जिस दौरान उन्होंने अपनी बात कही थी। आरोप है कि पीड़िता की बात से गाँव का प्रधान नन्हे उर्फ़ मोहम्मद इरफ़ान नाराज हो गया था।
राधा का आरोप है कि सर्वे के एक दिन बाद यानी 28 सितंबर को ग्राम प्रधान मोहम्मद इरफ़ान और साथी मोहम्मद यूनुस के साथ उनके घर में घुस आया था। इस दौरान दोनों आरोपितों ने पीड़िता को जातिसूचक शब्द बोलते हुए कहा, “तू दो टके की औरत हो कर हमारे खिलाफ आवाज उठा रही है। अगर तूने बयान वापस नहीं लिया तो तुझे जान से मार देंगे।” कुछ देर बाद दोनों राधा देवी को धमका कर चले गए। राधा का आरोप है कि 1 माह बाद 25 अक्टूबर, 2023 को एक बार फिर से उन पर आरोपितों द्वारा अपना बयान वापस लेने का दबाव बनाया गया।
पीड़िता के अनुसार, 25 अक्टूबर को उसे ग्राम प्रधान मोहम्मद इरफ़ान ने अपने घर बुलवाया। जब वो इरफ़ान के घर पहुँची तो वहाँ फ़िरोज़ उर्फ़ अनीस और परेवज आदि मौजूद थे। इन सभी ने राधा से अपना 1 माह पुराना बयान वापस लेने को कहा। जब राधा देवी ने इंकार कर दिया तब मौके पर मौजूद तमाम लोग नाराज हो गए। उन्होंने राधा को गंदी-गंदी गालियाँ देते हुए फिर से जातिसूचक शब्द बोले। साथ ही जान से मार डालने और गाँव से भगाने की भी धमकी दी गई। इस दौरान विपिन और सौरभ नाम के युवकों ने राधा को बचा कर उनके घर भिजवाया।