Sunday, December 22, 2024
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20 करोड़ प्रति सांसद भाजपा,27.34 करोड़ प्रति सांसद कांग्रेस,73.15 करोड़ प्रति सांसद ममता बनर्जी,134.96 करोड़ प्रति सांसद TRS चन्दा मिला

20 करोड़ प्रति सांसद भाजपा
27.34 करोड़ प्रति सांसद कांग्रेस
73.15 करोड़ प्रति सांसद तृणमूल कांग्रेस
134.96 करोड़ प्रति सांसद TRS तेलंगाना

एसबीआई ने चुनाव आयोग के साथ जो डेटा साझा किया है, उसके मुताबिक पिछले कुछ सालों में इलेक्टोरल बॉन्ड के जरिए सबसे ज्यादा चंदा भारतीय जनता पार्टी को दिया गया है। देश की सबसे बड़ी पार्टी का आंकड़ा 6,060.50 करोड़ बैठता है। बड़ी बात ये है कि जो कुल इलेक्टोरल बॉन्ड्स बांटे गए हैं, उसमें अकेले 47 फीसदी हिस्सा बीजेपी का है। अब कहने को देश में प्रमुख विपक्षी पार्टी कांग्रेस है, लेकिन चंदा लेने के मामले में बीजेपी के बाद दूसरे पायदान पर नंबर ममता की पार्टी टीएमसी का आ रहा है। आंकड़ों के मुताबिक टीएमसी को इलेक्टोरल बॉन्ड के रूप में 1,609.50 करोड़ का चंदा मिला है।
तीसरे नंबर पर कांग्रेस आ रही है जिसे पिछले कुछ सालों में 1,421.90 करोड़ का चंदा मिला है। अब कांग्रेस जैसी पार्टी के लिहाज से ये कम माना जा रहा है। वैसे भी बीजेपी और कांग्रेस के बीच का जो अंतर है, वो भी एक अलग ही कहानी बयां करता है। चौथे नंबर पर केसीआर की पार्टी बीआरएस चल रही है जिसके खाते में 1,214.70 करोड़ रुपये गए हैं। अब ये सारी तो कई साल पुरानी पार्टियां हैं, लेकिन तेज गति से राष्ट्रीय पार्टी का तमगा हासिल करने वाली आम आदमी पार्टी को इलेक्टोरल बॉन्ड से 65.50 करोड़ मिले हैं।

वहीं अखिलेश की पार्टी समाजवादी पार्टी को सिर्फ 14 करोड़ का चंदा इलेक्टोरल बॉन्ड के रूप में हासिल हुआ है। इस सूची में सबसे कम चंदा गोवा फॉरवर्ड पार्टी को मिला है। कुछ दूसरे दल भी हैं जिन्होंने 500 करोड़ से ज्यादा का चंदा हासिल किया है, इस लिस्ट में डीएमके से लेकर ओडिशा की बीजेडी तक शामिल है। वैसे चुनाव आयोग का ये आंकड़ा फिर साफ करता है कि सत्ता दल को हमेशा ज्यादा आसानी से चंदा हासिल हो जाता है, वहीं जो विपक्ष में होता है, उसे ज्यादा पापड़ बेलने पड़ते हैं।
कांग्रेस तो कई बार ये शिकायत कर चुकी है कि बीजेपी को आसानी से कॉरपोरेट का चंदा मिल रहा है, लेकिन वो डोनेशन के लिए तरस चुकी है। उसे अपने पार्टी कार्यकर्ताओं से ही चंदा इकट्ठा करवाना पड़ रहा है। लेकिन अब जब इलेक्टोरल बॉन्ड पर रोक लग गई है, जमीन पर स्थिति कितनी बदल सकती है, ये देखना दिलचस्प रहेगा।

यहाँ यह बताना जरूरी है कि लोकसभा में अधिकतम सीटें 552 हो सकती हैं; जिनमें राज्यों से 530, केंद्र शासित प्रदेशों से 20 और 2 नामित सदस्य शामिल हैं.
17 वीं लोकसभा के लिए, विभिन्न राज्यों और संघ शासित प्रदेशों से लोकसभा के लिए कुल 543 सदस्य चुने गये हैं.

इन 543 सीटों को 36 विभिन्न राजनीतिक दलों ने जीता है. इस लेख में हमने सभी सीट विजेता पार्टियों के नाम प्रकाशित किये हैं.

लोकसभा सीट जीतने वाले राजनीतिक दलों के नाम हैं;

 
पार्टी
सीटें
वोट शेयर (%)
1. भारतीय जनता पार्टी (BJP)
303
55.80
2. भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस (INC)
52
9.58
3. द्रविड़ मुनेत्र कड़गम (DMK)
24
4.42
4. युवजन श्रमिक रायथू कांग्रेस पार्टी (YSR Congress)
22
4.05
5. अखिल भारतीय तृणमूल कांग्रेस (AITC)
22
4.05
6. शिव सेना (SS)
18
3.31
7. जनता दल (यूनाइटेड) (JD)(U)
16
2.95
8. बीजू जनता दल (BJD)
12
2.21
9. बहुजन समाज पार्टी (BSP)
10
1.84
10. तेलंगाना राष्ट्र समिति (TRS)
9
1.66
11. लोक जनशक्ति पार्टी (LJSP)
6
1.10
12. राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (NCP)
5
0.92
13. समाजवादी पार्टी (SP)
5
0.92
14. निर्दलीय
4
0.74
15. इण्डियन यूनियन मुस्लिम लीग (IUML)
3
0.55
16. जम्मू और कश्मीर नेशनल कांफ्रेंस (J&KNC)
3
0.55
17. भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (मार्क्सवादी) (CPI (M)
3
0.55
18. तेलुगु देशम पार्टी (TDP)
3
0.55
19. शिरोमणि अकाली दल (SAD)
2
0.37
20. भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (CPI)
2
0.37
21. ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (AIMIM)
2
0.37
22. अपना दल (Apna Dal)
2
0.37
23. अखिल भारतीय संयुक्त लोकतांत्रिक मोर्चा (AIUDF)
1
0.18
24. ऑल झारखण्ड स्टूडेंट्स यूनियन(AJSU)
1
0.18
25. आम आदमी पार्टी (AAP)
1
0.18
26. ऑल इंडिया अन्ना द्रविड़ मुनेत्र कड़गम (AIADMK)
1
0.18
27. झारखंड मुक्ति मोर्चा (JMM)
1
0.18
28. केरला कांग्रेस (M)(KC(M))
1
0.18
29. जनता दल (सेक्युलर) (जद (एस))
1
0.18
30. सिक्किम क्रांतिकारी मोर्चा (SKM)
1
0.18
31. मिज़ो नेशनल फ्रंट (MNF)
1
0.18
32. राष्ट्रवादी लोकतांत्रिक प्रगतिशील पार्टी (NDPP)
1
0.18
33. नागा पीपुल्स फ्रंट (एनपीएफ)
1
0.18
34. नेशनल पीपुल्स पार्टी (एनपीपी)
1
0.18
35. राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी (RLP)
1
0.18
36. रिवोल्यूशनरी सोशलिस्ट पार्टी (RSP)
1
0.18
37. विदुथलाई चिरुथिगाल काची(VCK)
1
0.18

17वें लोकसभा चुनाव 2019 में, सिर्फ 36 पार्टियों ने 539 लोकसभा सीटें जीती हैं जबकि 4 सीटें निर्दलीय खाते में गयीं हैं. उपरोक्त सूची से पता चलता है कि केवल 9 पार्टियों ने दोहरे अंक में सीटें जीतीं हैं जबकि बाकि के दलों ने सिर्फ सिंगल डिजिट में सीटें जीतीं हैं.

अप्रैल 2019 तक, भारत में राष्ट्रीय दलों की संख्या 8 थी, राज्य मान्यता प्राप्त दलों की संख्या 35, और भारत में क्षेत्रीय दल लगभग 329 थी.

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