अभी गिनती चालू है और अगले 48 घण्टे तक रहने की उम्मीद है पर पीयूष जैन ने ऐसे जवाब देने शुरू कर दिए हैं कि अधिकारियों की हंसी नही रुक रही।
इत्र कारोबारी पीयूष जैन को इनकम टैक्स और डीजीजीआई की संयुक्त टीम ने हिरासत में ले लिया है। हालांकि, इससे पहले पीयूष जैन के बेटे प्रत्यूष जैन को टीम ने हिरासत में लिया था। प्रत्यूष को हिरासत में लेने के बाद टीम ने कन्नौज स्थित आवास पर छापेमारी की। जहां से टीम को काफी मात्रा में कैश और सोने के बिस्कुट आदि की बरामदगी हुई है। जिसके बाद ऐसी आशंका जताई जा रही है कि पीयूष के घर से बरामद हुई रकम का आकंड़ा और बढ़ सकता है। हालांकि, पीयूष जैन ने अधिकारियों के सामने अभी तक किसी का नाम नहीं कबूला है। पूछताछ में अफसरों से कहा कि ये पैसा उसी का है।
पुश्तैनी सोना बेचकर जमा किया था कैश
पीयूष जैन को इनकम टैक्स और डीजीजीआई की संयुक्त टीम ने हिरासत में ले लिया है। हिरासत में लेने के बाद पीयूष जैन से टीम पूछताछ में जुटी है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, पूछताछ में पीयूष जैन ने अधिकारियों को बताया कि यह रुपया उसी का है, जिसे उसने 400 किलो पुश्तैनी सोना बेचकर जमा किया था। हालांकि, सोना क्यों बेचा, किसे बेचा, कितने का बेचा, इन सवालों का जवाब पीयूष नहीं दे सके। हालांकि, पीयूष ने अफसरों से कहा कि ये उसका पैसा है। चाहें तो इनकम टैक्स काट लें और बाकी लौटा दें। यह सुनते ही अफसरों की हंसी छूट गई।
थोड़ा-थोड़ाकर कई सालों में बेचा सोना
पीयूष जैन के घर जांच कर रही टीम ने जब उसे पूछा कि आखिर सोना बेचने की जरूरत क्या थी? इस सवाल के जवाब में पीयूष ने बताया कि उसे अपने कारोबार में पैसा लगाना था, इसलिए सोना बेचा। लेकिन वो अधिकारियों के इन सवालों का जवाब नहीं दे सका। दरअस, अधिकारियों ने उससे पूछा था कि पिछले पांच साल में एक नई फर्म नहीं खोली है। बिजनेस नहीं बढ़ाया है। कोई नया बिजनेस प्लान नहीं है। किसी नए कारोबार का ब्लू प्रिंट तक नहीं है, फिर भी सोना बेच दिया। फिर अफसरों ने कहा, चलो मान लेते हैं कि सोना बेचा तो कहां बेचा। इस पर पीयूष ने कहा, थोड़ा-थोड़ा कर कई साल से छोटे-छोटे ज्वैलर्स को सोना बेच रहे थे।
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तहखाने में मिले गोल्ड और रुपए से भरे बोले
पिछले 23 दिसंबर से पीयूष जैन के आवास पर डीजीजीआई और इनकम टैक्स विभाग की छापेमारी जारी है। इस बीच पीयूष के पुश्तैनी आवस में भी एक तहखाना मिला है। इससे पहले कानपुर स्थित आवास में भी टीम को तहखाना मिला था। मीडिया खबरों के मुताबिक, इस तहखाने के अंदर करीब रुपयों से भरे आठ बोरे और एक गत्ते में सोने के बिस्कुट मिले हैं। रुपयों की गिनती के लिए मशीन मंगाई गई है। डीजीजीआई के अफसरों को आशंका है कि पीयूष के घर और पास ही बने गोदाम में कई जगह तहखाने हो सकते हैं।
टीम ने जताई गोपनीय लॉकर होने की भी आशंका
जांच टीम ने पीयूष जैन की घर की दीवारों में कुछ और गोपनीय लॉकर होने की भी आशंका व्यक्त की है। इन्हें तलाशने के लिए लखनऊ से आर्किटेक्ट की एक टीम को बुलाया गया है। वहीं, टीम ने पूरे दिन मकान का चप्पा-चप्पा तलाश किया। ऐसा बताया जा रहा है कि दीवारों और कमरों की छतों पर लगी सीलिंग भी टीम ने तोड़ी हैं। मकान के अंदर से दीवारों और सीलिंग तोड़ने की आवाजें दिनभर पड़ोसियों को सुनाई दीं।
छापे में मिली डायरी और बिलों में कई फर्मों के नाम
छापेमारी के दौरान पीयूष जैन के घर से अधिकारियों को कुछ डायरी और बिल भी मिले है। बताया जा रहा है कि इनमें कई फर्मों से कच्चा माल खरीदने और बेचने का जिक्र है। इससे अब टीम इन फर्मों से संपर्क कर बिलों और डायरी में दर्ज जानकारी की तस्दीक करेगी। ऐसा बताया जा रहा है कि जांच टीम ने शहर के कुछ लोगों से संपर्क भी किया है। जिससे इत्र कारोबार से जुड़े लोगों में खलबली मची है।सूत्रों के मुताबिक, टीम को पीयूष के घर से मिली एक डायरी मिली। जिसमें कई कारोबियों से व्यापार करने का जिक्र है।